Probo real or Scam? क्या वाकई में प्रोबो से पैसे कमाएं जा सकते हैं?

Probo opinion app एक ऐसा एप है जिसके विज्ञापन में दावा किया जाता है कि यहां पर आप ओपिनियन देकर के पैसे कमा सकते हैं. परंतु क्या वाकई में आप इससे पैसे कमा सकते हैं? या फिर सिर्फ पैसे बर्बाद कर सकते हैं? आज के इस आर्टिकल में हम “Probo app Real or Scam? क्या वाकई में Probo app से पैसे कमाएं जा सकते हैं?” के बारे में जानेंगे.

इस आर्टिकल को पढ़कर आप तय कर सकेंगे की क्या वाकई में प्रोबो ऐप से आप कमाई कर सकते हैं या फिर नहीं.

ऑनलाइन कमाई हमेशा सच्ची नहीं होती कई बार यह ऑनलाइन लूटने वाली होती है यह तो हम सभी जानते ही हैं, इसी श्रेणी में कई सारी scam कंपनियां लोगों को लूट रही हैं और हम उन्हें एक्सपोज करते हैं. और आज के आर्टिकल में प्रॉबो ओपिनियन ट्रेडिंग एप की बारी है.

हम यहां आपको इस अप के काम करने का फंडा बताएंगे और उसके बाद यह बताएंगे कि आपको नुकसान कितना है और लाभ कितना है. बाकी इसके अच्छे या बुरे होने का निर्णय लेना आपके ऊपर है.

क्या है Probo Opinion trading app?

Probo ऐप को बनाने वाली कंपनी का पूरा नाम Probo मीडिया टेक्नोलॉजी प्राइवेट लिमिटेड है, इसका मुख्य ऑफिस गुरुग्राम हरियाणा में है. तो यदि आपका पैसा लूट जाए तो आप सीधे वहीं पर धावा बोल दीजिएगा. इस कंपनी को आशीष गर्ग और सचिन गुप्ता नाम के दो व्यक्तियों ने बनाया था.

Probo एक तरह की गैंबलिंग कंपनी है लेकिन यह बाकी कंपनी से थोड़ा सा शातिर है और खुद को कुछ दूसरी तरह से परिभाषित करती है. इस कंपनी के अनुसार यह एक ओपिनियन ट्रेडिंग app है, जो आपको भविष्य में होने वाली घटनाओं पर अपना ओपिनियन यानी मत देने के विकल्प देती है और सही ओपिनियन पर पैसा कमाने का मौका देती है.

इस तरह की चालक परिभाषा बनाकर के यह ऐप और इसको बनाने वाली कंपनी स्वयं को एक नॉर्मलाइजेशन में डालने की कोशिश करती है. परंतु भविष्य में होने वाली किसी घटना की संभावना के हिसाब से पैसा लगाना ही सट्टेबाजी कहलाता है. भविष्य में किस्मत के सहारे पैसा का खेल खेलना ही जुआ कहलाता है. और अगर खुले मन से देखा जाए तो probo एक जुआरी app ही है.

मैंने probo को जुआरी app क्यों कहा यह आपको आगे समझ में आ जाएगा.

Probo.in app का बिजनेस मॉडल

किसी भी कंपनी के जेनुइन और फ्रॉड होने का अंतर समझने के लिए उसके बिजनेस मॉडल को समझना जरूरी होता है. इसी तरह हमें Probo.in के असली अथवा फ्रॉड होने का अंतर समझने के लिए इसके बिजनेस मॉडल को बारीकी से समझाना पड़ेगा.

इस ऐप पर यूजर्स को बिटकॉइन इत्यादि क्रिप्टोकरंसी की संभावना पर हां या ना में जवाब पर पैसा लगाने के ऑप्शन दिख जाते हैं.

क्रिकेट के होने वाले रिजल्ट, स्कोर, कौन सी टीम जीतेगी और कौन सी टीम कितने संभावित रन बना सकती है इस पर हां या ना में जवाब पर पैसा लगाने का विकल्प मिलता है.

कई सारे यूट्यूब के यूट्यूब वीडियो पर कितने व्यूज आ जाएंगे या कितने व्यू आ सकते हैं इस पर हां या ना में जवाब पर पैसा लगाया जाता है.

कौन सा नेता चुनाव जीत सकता है, कौन सा नेता कितने वोट से चुनाव जीत सकता है कौन सा नेता कितने वोट से कम में रह सकता है कौन सी पार्टी चुनाव जीतेगी इस पर भी हां या ना जवाब में पैसा लगाया जाता है.

इसी तरह के कई सारे और भी कई ऑप्शन probo.in अपने अप में जोड़ता रहता है. आगे भी किसी बहुचर्चित विषय पर इसमें पैसा लगाने की विकल्प आते रहेंगे.

इस ऐप पर एक bid की कीमत 10 रुपए रहती है और इसमें कंपनी थोड़ा सा भी पैसे का कॉन्ट्रिब्यूशन नहीं करती यूजर ही दोनों तरफ से पैसा लगाते हैं. अगर किसी यूज़र ने हां वाले जवाब पर 6 रुपए लगाए हैं, तो दूसरी तरफ किसी दूसरे यूजर को ना वाले विकल्प पर चार रुपए लगाने पड़ेंगे. यानी की यूजर का पैसा ही यूजर हारेंगे और यूजर का पैसा ही यूजर जीतेंगे, अलग से उन्हें कुछ भी नहीं मिलता.

यहां आपको सही जवाब देने पर कोई इनाम नहीं मिल रहा है. अगर इसमें 5000 लोग जीते हैं, तो दूसरी तरफ 5000 लोग पैसा हारते भी हैं. और यही तो जुआ होता है. इसलिए इस कंपनी द्वारा खुद को ओपिनियन ट्रेडिंग एप कहना सैद्धांतिक और नैतिक रूप से गलत है. यह कंपनी स्वयं को गलत परिभाषित करती है. असल में यह एक ऐसा कैसिनो गेम है जिसमें ताश के पत्तों का इस्तेमाल नहीं हो रहा.

यह probo.in का बेसिक बिजनेस मॉडल है.

Probo.in का Scam का तरीका

इस ऐप का यूजर इंटरफेस एक ट्रेडिंग एप की तरह ही है इनमें ज्यादातर बिटकॉइन और अलग अलग क्रिप्टोकरंसी की ट्रेडिंग के मैप दिखाए जाते हैं. और उन पर 5 या 10 मिनट या 15 मिनट की ट्रेडिंग की जाती है. अगले 5 मिनट में ग्राफ ऊपर जाएगा और किन अंकों तक जाएगा, या फिर नीचे जाएगा इस आधार पर हां या ना में पैसों के साथ जवाब देना पड़ता है.

प्रत्येक क्वेश्चन में आंसर की कुल कीमत 10 रुपए होती है आप क्वांटिटी बड़ा करके इसे हजारों तक पहुंचा सकते हैं. लेकिन अगर आपने हां पर क्लिक किया, और उसे वक्त हां की कीमत 6 है तो दूसरी तरफ ना की कीमत 4rs रहेगी. साफ अर्थ है कि यूजर ही दोनों तरफ पैसा लगाकर के अमाउंट पूरी करेंगे.

लेकिन आखिरी मिनट में ग्राफ Probo.in की मर्जी से घूम जाता है, पहले तो संभावनाएं दिखाई जाती हैं कि yes के चांस ज्यादा है या फिर No के चांस ज्यादा है. जिसके भी चांस ज्यादा दिख रहे होते हैं लोग उसको ज्यादा मात्रा में खरीद लेते हैं, दोनों तरफ से बाजी खेलने वाले भी ज्यादा चांस वाले ऑप्शन पर ज्यादा पैसा लगाते हैं.

समय खत्म होने के अंत में Probo.in पूरा खेल पलट देता है. जिस भी ट्रेडिंग में ज्यादा पैसा लग जाता है Probo.in उसके ऑपोजिट वाले में win कर देता है. यह सब कुछ इतने कम सेकंड में होता है कि आप असली ट्रेडिंग ग्राफ से इसको मैच भी कर नहीं पाएंगे.

यानी कि आप इस फ्रॉड के ऊपर कायदे से नजर नहीं रख सकते जब तक कि आप कई दिनों तक रिकॉर्ड ना करें. इस ऐप पर सबसे ज्यादा फ्रॉड ट्रेडिंग मैप पर पैसा लगवाने वाले विकल्प से ही किया जाता है.

अब चलिए चरण बद्ध तरीके से हम Probo.in फ्रॉड के तरीकों को समझते हैं. क्योंकि Probo.in सिर्फ एक तरह से फ्रॉड नहीं कर रहा. कई तरीकों का इस्तेमाल करके यूजर्स से पैसा निकाला जाता है.

गलत संभावनाएं देकर यूजर से Scam

इस कंपनी के द्वारा गलत संभावनाएं देकर के बड़ा ही आसानी से scam किया जाता है. जब भी किसी विकल्प पर पैसा लगाकर ओपिनियन देने का मौका चालू होता है. Probo द्वारा यूजर्स को गलत संभावनाएं दिखायी जाती है.

चाहे वह ट्रेड क्रिकेट का हो या फिर किसी इलेक्शन का अथवा किसी यूट्यूब के वीडियो का ट्रेड हो, शुरुवात में प्रतिशन में yes और no की गलत संभावनाएं दी जाती है. लोग उस गलत संभावना के हिसाब से पैसा लगा बैठते हैं. अगर आप दोनों साइड से भी खेलते हैं तब भी आप ज्यादा पैसा अधिक संभावना वाले पर लगाते हैं. परंतु असली संभावनाएं एकदम विपरीत निकलती है इससे आपका पैसा डूब जाता है.

probo अपने इंटरफेस में यूजर्स को दिखाता है कि हां की संभावना अधिक है या फिर ना की संभावना अधिक है. अधिकतर लोग जिसकी संभावना अधिक होती है उसी जवाब पर पैसा लगा देते हैं. दूसरी तरफ यह कंपनी अपने नकली बोट्स यूजर्स को ऐड करके रखती है.

रिजल्ट आने के कुछ मिनट पहले ही संभावनाएं बदल जाती हैं, और तब यूजर्स को पता चलता है की असली संभावना है तो कुछ और थी. लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी होती है. यूजर्स को scam में धकेलने के लिए ये probo का सबसे मुख्य पैंतरा रहता है.

विड्रॉल के समय यूजर से scam

इस कंपनी के बेसिक मॉडल के हिसाब से पैसा दोनों तरफ से यूजर का ही बराबर मात्रा में लगता है. कंपनी बीच में केवल एक सटोरिया का काम करती है. दो लोगों के बीच में सट्टा लगवाने का काम करती है. इस तरह से कंपनी का योगदान इसमें कुछ ज्यादा नहीं है. परंतु जब विड्रोल की बात आती है लोग जीता हुआ पैसा निकालना चाहते हैं. तब एक तरह से डिजिटल एक्सटॉर्शन शुरू हो चुका होता है.

अगर आप अपने पैसे कम करके कुछ समय बाद थोड़े बहुत पैसे जीते भी जाते हैं. तब आप को सबसे बड़े भारी भरकम scam का सामना करना पड़ता है. विड्रॉल के समय यह कंपनी आपकी जीती हुई धनराशि का तकरीबन 40% फ़ीस के नाम पर काट लेती है.

यह एक बहुत ही बड़ा फ्रॉड है, इस कंपनी पर आप लाखों रुपए बर्बाद करने के बाद यदि भविष्य में कभी 100000 जीत भी गए तो रिटर्न में सिर्फ 60000 पाएंगे. यानी कि आप हमेशा नुकसान में रहेंगे और यह कंपनी एक सटोरिया का काम करते हुए भी आपसे वसूली करती रहेगी.

Probo app profit

क्या आपको पता है यूजर भले इस ऐप से हजार रुपए भी काम न पा रहे हो लेकिन कंपनी करोड़ों रुपए अरबो रुपए कमा रही है.

Source: Entracker

Entracker Fintracker की रिपोर्ट के मुताबिक 2021 में इस कंपनी का कुल प्रॉफिट 2.66 करोड़ था. लेकिन 2023 में यानी सिर्फ एक साल में probo का प्रॉफिट 32 गुना बढ़कर 86.37करोड़ रुपए हो गया.

2024 में इस कंपनी का कुल प्रॉफिट 98 करोड़ रुपए हो चुका है. यह सारा पैसा इसी तरह स्कैम करके बन रहा है. क्या आप सोच सकते हैं की एक छोटे से एप में जब लाखो लोग रोजाना अपना 10 रुपया भी बर्बाद करेंगे तो कंपनी कितना लाभ उठाती होगी.

अपने पैसे की कीमत समझिए.

निष्कर्ष

हमारी रिसर्च में हमने पाया कि probo.in 99% scam app है. इस पर पैसा लगाने वाले यूजर किसी न किसी तरीके से अंत में ठग लिए ही जाते हैं. यह कंपनी स्वयं को ओपिनियन ट्रेडिंग एप होने का दावा करती है लेकिन ऐसा है नहीं. इसलिए सोच समझ कर इसका इस्तेमाल करें.

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